तिल विज्ञान

भाग-2

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कोहनी पर तिल -

  • जिस व्यक्ति की कोहनी पर तिल होता है उसके मन में यात्रा करने की बहुत अधिक लालसा होती है। मन प्रत्येक विषय के सम्बन्ध में सदा अनिश्चित रहता है। दो कामों को करने की प्रतिभा होती है। यह अधिक मात्रा में धन कमाते हैं,लेकिन कार्य करने की लगन कम होती है।

कलाई पर तिल-

  • यदि कलाई पर तिल हो तो व्यक्ति मितव्ययी, बुद्धिमान एवं विश्वसनीय होता है। ऐसे व्यक्ति के प्रायः दो विवाह होते हैं लेकिन तिल स्त्री की कलाई पर हो तो एक विवाह होगा।

हाथ पर तिल -

  • हाथ पर तिल होना बहुत सौभाग्य की बात है। ऐसे व्यक्ति को स्वास्थ्य, धन, सम्पत्ति, सुख, सन्तान सभी प्रकार का सुख मिलता है । तात्पर्य यह है कि प्रत्येक वस्तु अधिक  मात्रा में मिलती है। ऐसा व्यक्ति अत्यधिक प्रतिभा-सम्पन्न होता है ।

अंगुली पर तिल-

  • तिल चाहे किसी भी अंगुली पर हो,ऐसे व्यक्ति पर विश्वास नहीं किया जा सकता। वह अविश्वसनीय एवं बेईमान होता है।उसके सामने जो भी कठनाईयां आती है, वह उसका सामना करने में असमर्थ रहता है और इसको बढ़ा-चढ़ाकर देखता है।और अपने दुखों का रोना रोता रहता है।

पीठ पर तिल-

  • जिस व्यक्ति की पीठ पर तिल होता है,वह आसानी से किसी भी छल-कपट का शिकार हो जाता है। ऐसे व्यक्ति को किसी से अनुबंध करने से पहले सावधानी  रखनी चाहिए।

वक्ष पर तिल-

  • जिस व्यक्ति की छाती पर तिल होता है,वह व्यक्ति छोटी-छोटी बातों पर गुस्सा करता है और झगड़ा-फसाद करने पर उतारू हो जाता है। ऐसे व्यक्ति का स्वभाव आलसी एवं अस्थिर होता है। उसमें महत्वाकांक्षा की कमी होती है और वह जीवन में कोई महत्वपूर्ण कार्य नहीं कर सकता।

स्तन पर तिल-

  • यदि तिल दायें स्तन पर हो तो व्यक्ति आलसी होता है।ऐसे व्यक्ति की संतानो में अधिकतर लड़कियां होती हैं।
  • यदि तिल बायें स्तन पर हो तो  व्यक्ति स्फूर्तिमान, सक्रिय होता है। धन और सम्पत्ति अर्जित करता है। जीवन भी उसका वैभव एवं विलासिता से ओत-प्रोत होता है। उसकी सन्तान में पुत्र अधिक होते हैं।
  • यदि तिल बायें स्तन के नीचे हो तो व्यक्ति उत्साही और मिलनसार तो होता है, किन्तु उसका स्वभाव अस्थिर होता है । प्रत्येक बात को भली-भांति समझने की क्षमता का अभाव होता है।वह घुमक्कड़ स्वभाव का होता है।

चुचुक पर तिल-

  • चुचुक यानी स्तन के अग्रभाग पर यदि किसी पुरूष के तिल हो तो वह अस्थिर स्वभाव  एवं आमोद-प्रमोद का शौकीन होता है।
  • यदि यह तिल किसी स्त्री के हो तो वह सामाजिक स्थिति प्राप्त करने के लिए प्रयत्नशील रहती है।

उदर पर तिल -

  • जिस व्यक्ति के पेट पर तिल होता है उसमे स्वार्थ-परता की मात्रा अधिक होती है।अपने पहनावे के सम्बन्ध में लापरवाह होता है। उसका स्वास्थ्य भी ठीक नहीं रहता है। ऐसे लोगों को आवश्यकता से अधिक भोजन नहीं करना चाहिए एवं मदिरा का सेवन ना करें। फिजुलखर्ची से बचें। उनके जीवन में जीवन साथी का विशेष महत्व है। इसलिए ऐसे साथी का चुनाव करें जिसका स्वभाव ठीक हो ,जो परिस्थितियों को समझकर उसके अनुकूल आचरण करने की क्षमता हो।

नाभि पर तिल-

  • यदि किसी व्यक्ति की नाभि पर तिल हो तो वह अत्यंत भाग्यवान होता है और उसे सब प्रकार के सुख उपलब्ध होते हैं। 
  • यदि ये तिल किसी स्त्री  की नाभि पर होता है ,तो उसके मन में बहुत-सी सन्तानों की माता बनने की तीव्र इच्छा होती है।

कूल्हे पर तिल-

  • कूल्हे के किसी भाग पर तिल हो तो वह व्यक्ति की सन्तोष-वृत्ति, सुरक्षा की भावना और ऐसी सूझ-बूझ एवं बुद्धिमत्ता का संकेत देता है जो अत्यधिक विलासिता की प्रवृत्ति पर अंकुश रखते हैं। ऐसे व्यक्ति की सन्तान स्वस्थ होती है ।

नितम्ब पर तिल-

  • जिस व्यक्ति के नितम्ब पर तिल होता है, वह महत्तवाकांक्षी नहीं होता। वह जीवनयापन की किसी भी परिस्थिति को स्वीकार कर लेता है। कभी-कभी तो गरीबी का जीवन बिताने में भी संकोच नहीं होता।

उरू सन्धि  पर तिल-

  • यदि  उरू सन्धि अर्थात् पेट और जंघा के मध्य भाग पर दाहिने ओर तिल हो तो वह व्यक्ति समृद्ध होने पर भी स्वस्थ नहीं रहेगा। औषधियों के सहारे अपना जीवन खींचेगा । यदि ये तिल बायीं ओर हो तो शरीर से दुबला तो होगा ही , धन समृद्धि का भी अभाव रहेगा।

जंघा पर तिल-

  • यदि दाहिने जंघा पर तिल हो तो उस व्यक्ति को विवाह में सफलता मिलेगी एवं धन भी मिलेगा।
  • यदि तिल बायीं जंघा पर हो तो वह गरीबी एवं अभावों के फलस्वरूप प्राप्त होने वाले कष्टों का परिचायक होता है। शत्रु अधिक होते हैं और अन्याय का भी शिकार होता है।

टांग पर तिल-

  • यदि टांग पर तिल हो तो व्यक्ति को प्रारम्भिक जीवन में कठिनाइयों का सामना करना पडेगा, लेकिन वह अपनी दृढ़ इच्छा से उन पर विजय प्राप्त कर लेगा। उसे स्वार्थपूर्ण प्रवृत्ति से बचना चाहिए। ऐसे व्यक्ति उदासीन स्वभाव के भी होते हैं।

घुटने पर तिल-

  • दायें घुटने पर तिल व्यक्ति का स्वभाव मैत्रीपूर्ण, स्नेह-शील, मिलनसार होता है। उसे पारिवारिक जीवन में रूचि होती है।जीवनसाथी मनचाहा मिलता है।
  • बायें घुटने पर तिल वाला व्यक्ति फिजुलखर्ची, असन्तुलित विचारों वाला होता है, लेकिन व्यापार में बुद्धि बहुत तेज होती है। वह उतावला होता है, लेकिन ईमानदार होता है।

टखने पर तिल-

  • यदि किसी व्यक्ति के टखने पर तिल हो तो वह कायर होता है। स्त्री  स्वभाव का होता है और चटकीले वस्त्र पहनने का शौकीन होता है।
  • यदि स्त्री के हो तो वह साहसी, हास-परिहास प्रिय,  दूसरे लोगों के साथ प्रेम तथा सांसारिक समृद्धि में भागीदार बनने के लिये सदैव तैयार रहती है। उसका स्वभाव पुरूषों जैसा होता है।

पैर पर तिल-

  • जिसके पैर पर तिल होता है, वह उदास, निराशावादी कुर्सी पर बैठने का व्यवसाय पसन्द करता है। ऐसे व्यक्ति को स्वस्थ रहने के लिए आवश्यक है कि वह संतुलित और सक्रिय जीवन अपनाए ।

पैर के ऊपरी भाग पर तिल-

  • पैर के ऊपरी भाग पर तिल होने पर व्यक्ति का स्वभाव झगड़ालू होता है। सामान्यतः ऐसे लोग अच्छे खिलाड़ी बनते हैं।

एड़ी पर तिल –

  • यदि किसी व्यक्ति की एड़ी पर तिल हो तो ऐसा व्यक्ति मानसिक और शारीरिक रूप से बहुत सक्रिय एवम् स्फूर्तिवान होता है। 
  • यदि ऐसा व्यक्ति धन संग्रह करने लगे तो पर्याप्त मात्रा में धन संग्रह कर लेता है, परन्तु वह अपने शत्रु भी बहुत बना लेता है जो निरंतर उसके जीवन में छोटी-बड़ी कठिनाई उत्पन्न कर उसे परेशान करते रहते हैं।
कभी-कभी किसी व्यक्ति के एक ही स्थान पर दो तिल होते हैं। उदाहरणस्वरूप यदि किसी व्यक्ति के दाहिने पैर पर तिल है। यदि उसके बाएं पैर पर भी उसी स्थान पर तिल हो तो उसे मिथुन तिल कहते हैं। ऐसा व्यक्ति दोहरे स्वभाव का होता है । यह बात प्रत्येक दोहरे तिलों पर लागू होती है चाहे वे हाथ,  पैर,  कलाई,  गाल आदि कहीं पर भी क्यों न हो । यदि किसी स्थान पर पास-पास दो तिल हों तो उसकी दो प्रेमिकाएं या दो प्रेमी होते हैं ।

धन्यवाद । 

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